ज्योति बनी मशाल, जेबीएम
17/04/2012 09:03
खूबसूरत शहर सूरत, जो दुनिया भर में हीरों की चमक व भारतीय महिलाओं के मनपसंद परिधान साड़ी के कारण प्रसिद्ध है, में 15 अप्रैल 2012 को बाद दोपहर खाने के पश्चात एक इतिहास रचने की तैयारी के लिए जेबीएम परिवार की ओर से भव्य सम्मेलन का आयोजन किया गया था, जिसमें पूरे देश से एमएलएम के गुरू महागुरू पधारे हुए थे, जिनकी आंखों में झांक कर इस बात का सहज ही एहसास किया जा सकता था कि अब एमएलएम में अगर कोई कंपनी इतिहास रचेगी तो वह होगी केवल जेबीएम, सच कहें तो ऐसा लग रहा था कि अब ज्योति बनी मशाल।
यह ज्योत 15 अगस्त 2010 में, सूरत निवासी अशोक मांगुकिया के मन में प्रकट हुई, पिछले कई महीनों की सख्त मेहनत, अटूट विश्वास व प्रयत्नों की बदौलत वह ज्योति 15 अप्रैल को पूर्ण रूप से मशाल बन गई। मशाल का इस्तेमाल अंधेर राहों को रौशनमय बनाने के लिए किया जाता था। यह मीटिंग मशाल थी, उन नेटवर्क्स के लिए, जो आंखों में पटटी बांधकर, दिमाग का इस्तेमाल बिल्कुल नहीं करना के जुमले के साथ गलत दिशा में निरंतर आगे बढ़ रहे थे। इस सम्मेलन में शुमार नेटवर्किंग की दुनिया में अमिट छाप छोड़ चुके महा दिग्गजों ने खुद स्वीकार किया कि इससे बेहतर प्लान कुछ नहीं हो सकता।
सम्मेलन के दौरान उनके द्वारा लगाए जा रहे जोशोखरोश से भरे नारे, सम्मेलन के बाद उनकी प्रतिबद्धता, इस बात की ओर इशारा कर रही थी कि वह दिन दूर नहीं, जब जेबीएम परिवार इतिहास लिखेगा।
सम्मेलन में हुई घोषणाएं
जल्द काटेगा पांच रुपए का भी बिल
अप्रैल अंत तक उपलब्ध हो जाएंगे न्यू प्रोडक्ट
कंपनी का नया ऑफिस होगा अमरोली सूरत में
बीस बीस लाख बीवी बनाएंगे आपको जेबीएम पार्टनर
हर अचीर्वर को मिलेगी गिफट में टाई
गुणवत्ता से नहीं होगा समझौता
पैसा सेव करो, गायब नहीं
भागो नहीं, जागो मेरे भाई
नहीं चाहिए आपका पैसा, जल्द फिल करें बैंक खाते
अप्रैल अंत तक उपलब्ध हो जाएंगे न्यू प्रोडक्ट
कंपनी का नया ऑफिस होगा अमरोली सूरत में
बीस बीस लाख बीवी बनाएंगे आपको जेबीएम पार्टनर
हर अचीर्वर को मिलेगी गिफट में टाई
गुणवत्ता से नहीं होगा समझौता
पैसा सेव करो, गायब नहीं
भागो नहीं, जागो मेरे भाई
नहीं चाहिए आपका पैसा, जल्द फिल करें बैंक खाते
संक्षेप में एमडी अशोक पुरुषोत्तम मांगुकिया का संदेश
प्रोडक्ट बेचने की जिम्मेदारी आपकी नहीं मेरी है, आप तो केवल लोगों को एक बार प्रोडक्ट से रूबरू करवाओ, गुणवत्ता होगी तो बिकेगा, और मैं गुणवत्ता से समझौता नहीं करने वाला। अब तक आपने पैसा बनाया नहीं खोया है, लेकिन अब वक्त है उस पैसे को फिर से पाने का, तो पैसा बचाना सीखना होगा। एमएलएम का सही उद्देश्य है, समय, पैसा और सम्मान, मैं पूछता हूं, जो लोग सालों से एमएलएम कर रहे हैं, उनमें से कितनों के पास है आज उक्त चीजें, नहीं होने के कारण ढूंढो और उन कारणों अज्ञात जगह पर दफन कर दो। जेबीएम परिवार एमएलएम को सही दिशा देने के लिए आया है, जो बहुत जल्द यह सिद्ध भी कर देगा।
इस शानदार सम्मेलन के लिए टेक्नीकल अचीर्वर अरविंद भाई सूरतिया एवं जेबीएम परिवार के सूरत ऑफिस में काम करने वाली पूरी समर्पित टीम प्रशंसा की हकदार रही। जहां जम्मू कश्मीर से टेक्नीकल मोम्महद रियाज ने मंच संचालक की भूमिका को खूब बेहतरीन तरीके से निभाया, वहीं आंध्र प्रदेश से जेबीएम सदस्य एमके सर ने जेबीएम प्लान शो किया, जो अपने आप में अनूठा कार्य था। समारोह के दौरान जेबीएम लीडर्स प्रेमनाथ जी, सुरेंद्र बांसल, शैलेश भट्ट, मलय सामंत, श्यामा कांत, नरेश भाई, प्रवीण कुमार ठाकुर, रॉयल्टी मैन विष्णु जी ठाकोर, कन्नुभाई ठाकोर, सैयद दस्तगीर, कुलवंत हैप्पी व टेक्नीकल अचीर्वर किरिट सिंह चावड़ा, अरविंद भाई सूरतिया व मोहम्मद रियाज को गुलदस्तों से सम्मानित किया।
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